कोरोना संक्रमण से बचाव के उपायों के लिए नहीं होगी संसाधनों की कमी : मुख्यमंत्री भूपेश बघेल

रायपुर(आईएसएनएस)। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज अपने निवास कार्यालय में आयोजित राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की बैठक में कोरोना वायरस से बचाव के लिए सभी सर्तकता मूलक उपाय सुनिश्चित करने के निर्देश अधिकारियों को दिए। मुख्यमंत्री ने सभी जिला कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों को वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से इस संबंध में विस्तृत निर्देश दिए।

श्री बघेल ने कहा कि सभी नगरीय क्षेत्रों में धारा 144 प्रभावशील की जाए। लेकिन यह भी ध्यान भी रखा जाए की लोगों को विशेषकर गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले को राशन और दवाईयां की उपलब्धता बनी रहें। उन्होंने कहा कि यह ध्यान रखे कि ज्यादा भीड़ इकट्ठा न हो। उन्होंने कहा की आंगनबाड़ी और मध्यान्ह भोजन कार्यक्रम बंद हो गया है। बच्चों को खाद्य सामग्री घर पहुंचाकर दी जाए। श्री बघेल ने सभी ट्रेनिंग प्रोग्राम रद्द करने, परीक्षाएं स्थगित करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सी.जी. बोर्ड की परीक्षाए स्थगित की जाए।

मुख्यमंत्री ने रेल्वे के अधिकारियों से कहा कि राज्य के महत्वपूर्ण रेल्वे स्टेशन जहां आवाजाही होती है। वहां कोरोना वायरस के संक्रमण का पता लगाने के लिए आवश्यक व्यवस्था की जाए। उन्होंने इस संबंध में रेल्वे के अधिकारियों रेल मंत्री एवं उच्च अधिकारियों को अवगत कराने भी कहा। उन्होंने सीआरपीएफ के अधिकारियों को कैम्पों में सावधानी और सतर्कता बरतने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सीआरपीएफ के डॉक्टरों और जवानों की जरूरत इन कार्यों के लिए पड़ेगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि एयरपोर्ट और रेल्वे स्टेशनों में विदेश से लौटने वाले लोगों की स्क्रीनिंग करने के साथ ही इसकी जानकारी जिला प्रशासन को उपलब्ध कराए। सड़क मार्ग से आने वालों की स्क्रीनिंग सीमावर्ती चेक पोस्ट पर की जाए। अंतर्राज्यीय बसों पर रोक लगाई जाए। राज्य के अंदर संचालित की जा रही बसों में ओव्हर क्राउडिंग न हो तथा नियमित रूप से इन बसों की डिसइनफेक्शन की कार्यवाही की जाए। यू.जी.सी. की गाईड लाईन के अनुसार विश्वविद्यालयों की परीक्षाएं स्थगित की जाए। पुलिस, राजस्व, स्वास्थ्य, परिवहन सहित सभी अधिकारियों और कर्मचारियों की अवकाश निरस्त कर दिए जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि स्पा, ब्यूटी पार्लर, मॉल, डिपार्टमेन्टल स्टोर, चौपाटी, स्वीमिंग पुल, लाईब्रेरी, कोचिंग सेन्टर जैसे भीड़ भाड़ वाले स्थानों को तत्काल बंद कराया जाए। हॉस्टल तथा पीजी में आवाजाही सीमित की जाए। रैली, सभा, आयोजन आदि को हतोत्साहित किया जाए। वाट्सएप सहित सोशल मीडिया पर चलने वाले फेक न्यूज को रोक लगाए। शादी समारोह घरों में आयोजित करने के लिए लोगों को समझाईश दी जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना वायरस के मरीजों के नाम और पते को उजागर न किए जाए। जिलों में क्वारेन्टाइन सेन्टर के लिए जगह का चिन्हांकन कर लिया जाए। विदेशों और बड़े शहरों से आ रहे लोगों की जानकारी रखी जाए। इसी प्रकार काम की तलाश में अन्य राज्यों में जाने वाले छत्तीसगढ़ के लोगों के लौटने पर उनकी जानकारी पंचायत सचिवों और कोटवारों को देना सुनिश्चित किया जाए। मास्क और सेनेटाईजर की कालाबाजारी करने वाले लोगों के विरूद्ध सख्त कार्यवाही की जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जेलों में मुलाकातियों की संख्या सीमित की जाए। ग्लास बेरियर के माध्यम से बातचीत की सुविधा दी जाए। इसी प्रकार पेरोल से लौटने वाले कैदियों को 14 दिन के आइसोलेशन में रखा जाए। वृद्धा आश्रम में भी मुलाकात करने वाले की संख्या कम से कम रखी जाए। कलेक्टरेट में कम से कम बैठक आयोजित की जाए। जरूरत पड़ने पर सीमित लोगों को बैठक में बुलाए। इसके अलावा वेबकास्टींग, वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग, फेसबुक आदि के माध्यम से सम्पर्क कर जरूरी निर्देश दिए जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जनप्रतिनिधियों, मंत्रिगणों, विधायक, महापैार, जिला पंचायत, जनपद अध्यक्ष के बंगलों में लोगों की सभाएं न हो। सभी जिलों में कोरोना वायरस की रोकथाम के लिए राज्य स्तरीय कोर कमेटी के समान ही जिला कोर कमेटी का गठन कर लिया जाए। कॉन्टेक्ट ट्रेसिंग के लिए टीम का गठन कर लिया जाए। इसके लिए स्कूल शिक्षा, महिला बाल विकास, नगरीय प्रशासन आदि विभाग के अधिकारियों को लिया जाए। क्वारेन्टाइन सेन्टर का संचालन करते समय वहां सुरक्षा बल तैनात किए जाए।

मुख्यमंत्री श्री बघेल ने कोरोना वायरस के परीक्षण के लिए रायगढ़ और जगदलपुर में कोरोना वायरस परीक्षण के लिए लैब की व्यवस्था के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सभी प्रकार के प्रशिक्षण स्थगित किए जाए। मुख्यमंत्री ने क्वारेन्टाइन सेन्टर और कोरोना परीक्षण से जुड़े स्वास्थ्य कर्मचारियों को विशेष भत्ता दिए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस से पीड़ित मरीजों के उपचार के दौरान स्वास्थ्यकर्मी से अच्छा व्यवहार करें, इसका ध्यान रखा जाए।

बैठक में स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंहदेव ने कोरोना वायरस के बचाव के कार्यों में सी.आर.पी.एफ. में पदस्थ डॉक्टरों तथा अन्य स्टाफ की सेवाएं लेने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि क्वारेन्टाइन सेन्टरों में सुरक्षा बलों की ड्यूटी लगाई जा सकती है। एम्स के डायरेक्टर डॉ. नितिन एम. नागलकर ने बताया कि एम्स में आइसोलेशन वार्ड और डायग्नोस्टिक लैब की व्यवस्था है। पुलिस महानिदेशक डी. एम. अवस्थी ने पुलिस कर्मियों को ड्यूटी के दौरान सतर्कता से काम करने की हिदायत दी। उन्होंने कहा कि इसके लिए वाट्सएप में एक वीडियो भेजा जा रहा है।

बैठक में कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे, राजस्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल, नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ. शिवकुमार डहरिया, वन मंत्री मोहम्मद अकबर, उद्योग मंत्री कवासी लखमा, कोरबा सांसद ज्योत्सना महंत, मुख्य सचिव आर.पी.मण्डल, अपर मुख्य सचिव वित्त अमिताभ जैन, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री सुब्रत साहू, प्रमुख सचिव पंचायत एवं ग्रामीण विकास गौरव द्विवेदी, स्वास्थ्य विभाग की सचिव निहारिका बारिक और राजस्व एवं आपदा प्रबंधन विभाग की सचिव रीता शांडिल्य सहित अन्य अधिकारी मौजूद थे।

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